Ajit dobhal करेंगे अंतरधार्मिक बैठक, करेंगे पैगम्बर विवाद और कट्टरपंथ पर चर्चा
नई दिल्ली: राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (NSA) अजीत डोभाल आज यानी शनिवार (30 जुलाई) को अंतर-धार्मिक सद्भाव बनाए रखने के लिए नरेंद्र मोदी सरकार की आउटरीच के तहत एक अंतर-धार्मिक बैठक करने वाले हैं।
अंतर-धार्मिक सम्मेलन में विभिन्न धर्मों के धर्मगुरु शामिल होंगे। सम्मेलन में सूफी संत भी शामिल होंगे, जिसके दौरान शांति, एकता और सद्भाव का प्रस्ताव पारित किया जाएगा।
अखिल भारतीय सूफी सज्जाद नशीन परिषद के प्रमुख हजरत सैयद नसीरुद्दीन चिश्ती भी सम्मेलन में शामिल होंगे। भाजपा की पूर्व प्रवक्ता नूपुर शर्मा की टिप्पणी पर विवाद और बरेलवी मुसलमानों के एक वर्ग की चरम प्रतिक्रिया के मद्देनजर अंतर-धार्मिक सम्मेलन धार्मिक तनाव को कम करने की एक पहल है।
बता दें कि नूपुर शर्मा विवाद के बाद देश में हिंसा और जघन्य हत्याएं हुई हैं, जिसमें उदयपुर में दो मुस्लिम युवकों द्वारा एक हिंदू दर्जी कन्हैयालाल का सिर कलम करना भी शामिल है।
इन कट्टरपंथियों ने पूरे मामले का वीडियो बनाया और पीएम नरेंद्र मोदी को धमकी भी दी। एनआईए इस मामले को आतंकी समूह आईएसआईएस द्वारा की गई हत्याओं के पैटर्न से जोड़कर देख रही है।
इसी तरह की हेट किलिंग महाराष्ट्र के अमरावती में हुई थी, जहां उमेश कोल्हे नाम के एक फार्मासिस्ट की मुस्लिमों ने हत्या कर दी थी। मामले की जांच एनआईए भी कर रही है।
आपको बता दें कि यह पहली बार नहीं है जब डोभाल धर्मगुरुओं के साथ अंतर-धार्मिक बैठकें कर रहे हैं। इससे पहले 2019 में अयोध्या विवाद पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद NSA अजीत डोभाल ने धर्मगुरुओं से मुलाकात की थी.
सुप्रीम कोर्ट के फैसले के अगले ही दिन डोभाल के आवास पर बैठक हुई.बैठक में हिंदू नेता स्वामी परमेश्वरनंद, अवधेशानंद गिरि, बाबा रामदेव, चिदानंद सरस्वती और मुस्लिम धर्मगुरु जमात-ए-उलेमा-हिंद के अध्यक्ष महमूद मदनी और शिया धर्मगुरु मौलाना कल्बे जवाद ने भाग लिया।